Ankita Murder Case : बहुचर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड मामले में कोटद्वार स्थित अपर जिला एवं सत्र न्यायालय (एडीजे कोर्ट) ने आज फैसला सुना दिया है। कोर्ट ने तीनों आरोपियों पुलकित आर्य, उसके कर्मचारी सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता को हत्या के मामले में दोषी करार दिया है। आरोपियों पर 302, 201, 354, धाराओं में दोष सिद्ध हुआ है। अभी अंतिम निर्णय कुछ ही देर में आएगा।
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गढ़वाल मंडल के विभिन्न जनपदों से पुलिस फोर्स कोटद्वार बुलाई गई
अदालत के फैसले पर पूरे उत्तराखंड और देश के लोगों की निगाहें टिकी थी। कोटद्वार में इसके लिए पुलिस प्रशासन की ओर से व्यापक सुरक्षा प्रबंध किए गए है। गढ़वाल मंडल के विभिन्न जनपदों से पुलिस फोर्स कोटद्वार बुलाई गई है। अदालत परिसर के बाहर की सड़कों पर बैरिकेडिंग लगाई गई है।
बीती 19 मई को अभियोजन पक्ष के अधिवक्ता विशेष लोक अभियोजक अवनीश नेगी की ओर से बचाव पक्ष की बहस का जवाब देकर सुनवाई का सिलसिला समाप्त किया गया था। अदालत ने दोनों पक्षों की बहस व दलीलें सुनने के बाद फैसला सुनाने के लिए 30 मई की तिथि निर्धारित की थी। कोटद्वार स्थित एडीजे कोर्ट में 30 जनवरी, 2023 को मामले की पहली सुनवाई शुरू हुई थी। एसआईटी जांच के बाद अभियोजन पक्ष की ओर से अदालत में 500 पेज का आरोपपत्र दाखिल किया गया।
तीनों हत्यारोपियों वनंत्रा रिजाॅर्ट के मालिक पुलकित आर्य, उसके कर्मचारी सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता पर आरोप तय होने के बाद 28 मार्च, 2023 से अभियोजन पक्ष की गवाही शुरू हुई। करीब दो साल और आठ महीने तक चली सुनवाई में अभियोजन पक्ष की ओर से विवेचक समेत 47 गवाह अदालत में परीक्षित कराए गए। हालांकि एसआईटी ने इस मामले में 97 गवाह बनाए थे, जिनमें से 47 अहम गवाहों को ही अदालत में पेश कराया गया।
अदालत परिसर के चारों ओर व्यापक सुरक्षा प्रबंध (Ankita Murder Case)
कोतवाल रमेश तनवार ने बताया कि अदालत परिसर में पुख्ता सुरक्षा प्रबंध करने के लिए पौड़ी जिले के साथ ही देहरादून, हरिद्वार, टिहरी, उत्तरकाशी जनपदों से बड़ी संख्या में पुलिस बल, अधिकारी और डेढ़ कंपनी पीएसी के जवान तैनात किए गए हैं।
अदालत परिसर में किसी भी बाहरी व्यक्ति को जाने की अनुमति नहीं है। पुलिस और प्रशासन की ओर से सुरक्षा प्रबंधों को लेकर कई दौर की बैठक और मॉक ड्रिल की जाती रही। लत परिसर छावनी में तब्दील हो जाएगा। वरिष्ठ पुलिस एवं प्रशासनिक अधिकारी खुद सुरक्षा व्यवस्था पर निगाह बनाए रखेंगे।
कोर्ट परिसर के 200 मीटर के दायरे में निषेधाज्ञा लागू, चार मजिस्ट्रेट तैनात
अदालत के फैसले को देखते हुए एसडीएम कोटद्वार सोहन सिंह सैनी ने अदालत परिसर के 200 मीटर के दायरे में धारा 163 लागू कर दी है। जिला प्रशासन ने कोटद्वार में चार और पौड़ी में एक मजिस्ट्रेट की तैनाती कर दी है। कोई भी व्यक्ति समूह में अदालत के 200 मीटर के दायरे में प्रवेश नहीं कर सकेगा। इसके साथ ही नारेबाजी, धरना
प्रदर्शन भी प्रतिबंधित कर दिया गया है।